कलयुग की ब्याख्या है ये
धृतराष्ट्र : "मैं बहुत खुश हूँ प्रिये,
तुमने मुझे 100 पुत्र दिये।"
गंधारी: "ये संभव ना होता
स्वामी, अगर आप अंधे ना होते।" 😝😝😜😜
धृतराष्ट्र: "क्या मतलब ? क्या
ये सौ पुत्र मेरे नहीं हैं तो किसके
है?"
गांधारी: "क्या पता? मैनें भी तो
आखों पर पट्टी बाँध रखी है !!" ... 😜😜😜
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